2025-01-06 06:30
भगवान शिव व नंदी आपसी गहरी भक्ति और विश्वास का प्रतीक है कथानुसार नंदी, शिव को समर्पित एक ऋषि, शिलाद के पुत्र थे। शिलाद ने संतान प्राप्ति हेतु कठोर तप किया व भगवान शिव से ऐसा पुत्र मांगा, जो अमर और पवित्र हो। शिवजी ने शिलाद को वरदान दिया, नंदी का जन्म हुआ। नंदी ने शिवजी की सेवा व भक्ति को अपना जीवन समर्पित कर दिया। एक बार, नंदी ने कठोर तपस्या कर शिवजी को प्रसन्न किया और उनसे यह वरदान प्राप्त किया कि वह शिव के वाहन और द्वारपाल बनेंगे। तभी से नंदी भगवान शिव के साथ सदा उपस्थित रहते हैं।#threads